थनैला रोग की अंग्रेजी दवा, इंजेक्शन और पहचान  – थनैला रोग कितने दिन में ठीक होता है?

थनैला रोग की अंग्रेजी दवा, इंजेक्शन और पहचान  – थनैला रोग कितने दिन में ठीक होता है? – थनैला रोग दुधारू पशु में पाया जाने वाला रोग हैं. यह रोग गाय, भैस, बकरी आदि पशु में देखने को मिलता हैं. किसी भी दुधारू पशु में थनैला रोग होने पर उनके थन गर्म होने लगते हैं. और थन में सुजन आदि की समस्या उत्पन्न होती हैं. दुधारू पशु का दूध निकालने पर दूध में पस तथा खून आदि भी देखने को मिलता हैं.

दुधारू पशु में थनैला रोग होने पर उनके शरीर का तापमान भी बढ़ जाता हैं. यह रोग होने पर पशु खाना पीना छोड़ देते हैं. इसलिए जल्दी ही यह रोग होने पर पशु का उपचार करवाना पड़ता हैं.

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दोस्तों आज हम आपको इस आर्टिकल के माध्यम से थनैला रोग की अंग्रेजी दवा बताने वाले हैं. इसके अलावा इस टॉपिक से जुडी अन्य और भी जानकारी प्रदान करने वाले हैं. तो यह सभी महत्वपूर्ण जानकारी पाने के लिए आज का हमारा यह आर्टिकल अंत तक जरुर पढ़े.

तो आइये हम आपको इस बारे में संपूर्ण जानकारी प्रदान करते हैं.

थनैला रोग की अंग्रेजी दवा

अगर दुधारू पशु को थनैला रोग हो गया हैं. उनके थन में सुजन आ गई हैं. और दूध के साथ साथ पस और खून निकल रहा हैं. तो इस रोग के लिए आप टीटासुल कैप्सूल या फिर टीटासुल लिक्विड का उपयोग कर सकते हैं.

थनैला रोग के लिए यह दोनों ही बहुत ही कारगर और असरकारक दवाई मानी जाती हैं. लेकिन इसका इस्तेमाल करने से पहले आपको किसी पशु चिकित्सक की सलाह जरुर लेनी चाहिए. और उनकी मौजूदगी में इन दवाई का उपयोग करना चाहिए.

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थनैला रोग की पहचान

थनैला रोग की पहचान के कुछ तरीके हमने नीचे बताए हैं.

  • अगर दुधारू पशु के थन पहले से अधिक कडक हो गए हैं. और थन में सुजन आ गई हैं. तो यह थनैला रोग का रोग की मुख्य पहचान हैं.
  • पशु को थन में दर्द हो रहा हैं. तो मान लीजिए की पशु थनैला रोग से पीड़ित हैं.
  • अगर पशु दूध कम दे रहा हैं. तो यह भी थनैला रोग का लक्षण माना जाता हैं.
  • दूध से दुर्गंध आ रही है. या फिर दूध का रंग पीला हो गया हैं. तो यह भी थनैला रोग रोग का लक्षण माना जाता हैं.
  • पशु को थनैला रोग होने पर दूध गाढ़ा आने लगता हैं. कई बार तो दहीं के जैसा दूध आना शुरू हो जाता हैं.
  • थनैला रोग होने पर थन में गांठे पड़ जाती हैं.
  • थनैला रोग होने पर पशु खाना पीना छोड़ देते हैं. और पशु को बुखार आदि भी आता हैं.

अगर पशु में यह सभी लक्षण दिखाई देते हैं. तो मान लीजिए की पशु को थनैला रोग हुआ हैं. ऐसी स्थिति में आपको किसी अच्छे पशु चिकित्सक को पशु को दिखाना चाहिए.

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थनैला रोग का इंजेक्शन

आज के समय में थनैला रोग के लिए कोई भी इंजेक्शन नही हैं. क्योकि ऐसा माना जाता है की 100 से भी अधिक सूक्ष्म जीव और बैक्टीरिया के संक्रमण के कारण यह रोग होता हैं.

इसलिए इस रोग के लिए इंजेक्शन बनाना कठिन काम हैं. हालांकि इस रोग के लिए जल्दी से जल्दी कोई इंजेक्शन बने. इसके लिए काफी सारे अभियान चलाए जा रहे हैं. और काफी जगह रिसर्च भी चल रहे हैं.

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थनैला रोग कितने दिन में ठीक होता है?

थनैला रोग होने पर अगर आप जल्दी ही किसी पशु चिकित्सक से पशु का इलाज शुरू करवा देते हैं. तो 15 से 20 दिन में थनैला रोग ठीक हो जाता हैं.

थनैला रोग होने के कारण

थनैला रोग होने के प्रमुख कारण के बारे में हमने नीचे जानकारी प्रदान की हैं.

  • पशु में यह रोग 100 से भी ज्यादा सूक्ष्म जीव के संक्रमण के कारण होता हैं.
  • जो पशु ज्यादा उम्र वाले होते हैं. ऐसे पशु में थनैला रोग अधिक दिखाई देता हैं.
  • जो पशु अधिक मात्रा में दूध देते हैं. ऐसे पशु में भी थनैला रोग अधिक दिखाई देता हैं.
  • थनैला रोग कुछ पशु में वंशानुगत भी होता हैं.
  • पशु के आसपास साफ़ सुफाई नही रखने की वजह से भी यह रोग पशु में दिखाई देता हैं.
  • पशु के थन पर चोट लगने की वजह से भी थनैला रोग पशु में दिखाई देता हैं.
  • कई बार थन पर चोट लगने की वजह से थन फट जाते हैं. इस वजह से जीवाणु और कीटाणु आसानी से थन के अंदर चले जाते हैं. इस कारण भी पशु में थनैला रोग होता हैं.

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निष्कर्ष

दोस्तों आज हमने आपको इस आर्टिकल के माध्यम से थनैला रोग की अंग्रेजी दवा बताई है. इसके अलावा इस टॉपिक से जुडी अन्य और भी जानकारी प्रदान की हैं.

हम उम्मीद करते है की आज का हमारा यह आर्टिकल आपके लिए उपयोगी साबित हुआ होगा. अगर उपयोगी साबित हुआ हैं. तो आगे जरुर शेयर करे. ताकि अन्य लोगो तक भी यह महत्वपूर्ण जानकारी पहुंच सके.

दोस्तों हम आशा करते है की आपको हमारा यह थनैला रोग की अंग्रेजी दवा आर्टिकल अच्छा लगा होगा. धन्यवाद

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